रविवार, अक्टूबर 6, 2024

कोरबा जिले का विकास और प्रगति होगी पहली प्राथमिकता: आकांक्षी जिला प्रभारी रजत कुमार ने ली समीक्षा बैठक

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आकांक्षी जिले हेतु निर्धारित लक्ष्यों को केंद्रित करने के दिए निर्देश

कोरबा (आदिनिवासी)। भारत सरकार कार्मिक लोक शिकायत एवं पेंशन मंत्रालय में संयुक्त सचिव एवं आकांक्षी जिला कोरबा के प्रभारी श्री रजत कुमार ने आज जिला पंचायत के सभा कक्ष में आकांक्षी जिले के निर्धारित संकेतकों की प्रगति की समीक्षा की। बैठक में योजनाओं के सफल क्रियान्वयन एवं योजनाओं का लाभ जिले के लोगों तक पहुंचे इसके संबंध में संबंधित विभागों से चर्चा की और आकांक्षी जिले में लक्ष्य प्राप्ति तक सतत् कार्य करने के निर्देश दिए। संयुक्त सचिव श्री रजत कुमार ने कोरबा जिले में विकास की अपार संभावनाएं बताते हुए कहा कि वे पहले भी कोरबा जिले में कार्य कर चुके हैं।

जिले के दूरस्थ क्षेत्रों में आवश्यक सुविधाएं उपलब्ध हो और आकांक्षी जिले हेतु निर्धारित लक्ष्यों के अनुरूप कोरबा जिला विकास तथा प्रगति की राह में आगे बढ़े यह उनकी प्राथमिकता में होगी। इस दौरान कलेक्टर श्री संजीव कुमार झा एवं पुलिस अधीक्षक श्री उदय किरण भी उपस्थित थे। बैठक में श्री कुमार ने आकांक्षी जिले की अवधारणा के संबंध में कहा कि हम सभी की आकांक्षा यह होनी चाहिए कि हमारे जिले के लोगों का भी राज्य और देश के अन्य सामान्य जिलों के लोगों का जीवन स्तर समान हो। हमारे जिले में समुचित स्वास्थ्य सुविधाएं हो। कोई भी बच्चा कुपोषित न हो, सभी गर्भवती माताओं का पंजीयन हो और उनके स्वास्थ्य की नियमित जांच हो, बच्चों का शतप्रतिशत टीकाकरण हो।

हर गांव तक सड़क हो, लोगों को शुद्ध पेयजल उपलब्ध हो। खेतों में सिंचाई की सुविधा हो, हर गांव में बिजली हो, हर पंचायत में इंटरनेट की भी सुविधा हो, बेहतर शिक्षा सुविधा उपलब्ध हो, यही हमारी आंकाक्षा होना चाहिए और जब तक हम यह सब लक्ष्य प्राप्त नहीं कर लेते तब तक सतत् कार्य करते रहना होगा। जिले में स्वास्थ्य विभाग की योजनाओं के संबंध में कहा कि संस्थागत प्रसव हो, इसके लिए विशेष प्रयास किए जाए। सभी गर्भवती माताओं का पंजीयन कर उनकी नियमित जांच की जाए, उन्हें पोषण आहार मिले। जिले में शतप्रतिशत बच्चों की टीकाकरण हो, कोई भी बच्चा कुपोषित नहीं होना चाहिए। यदि कोेई बच्चा कुपोषित है तो उस बच्चे को पोषण पुनर्वास केन्द्र में भर्ती कर उसका समुचित इलाज कराया जाए। इन महत्वपूर्ण संकेतकों पर स्वास्थ्य विभाग को समुचित कार्यवाही सुनिश्चित करना होगा।

समीक्षा बैठक के दौरान संयुक्त सचिव श्री कुमार द्वारा स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों को निर्देश देते हुए कहा गया की मातृत्व स्वास्थ्य एवं शिशु स्वास्थ्य में दी जाने वाली सेवाओं को सर्वाेच्च प्राथमिकता दें, साथ ही कोई भी लाभार्थी स्वास्थ्य सेवाओं से वंचित ना हो सभी स्वास्थ्य अधिकारी इस बात का विशेष ध्यान रखें। जिले में संस्थागत प्रसव की उपलब्धि की समीक्षा करते हुए उन्होंने शत प्रतिशत प्रसव संस्थागत कराने के निर्देश दिए। सयुंक्त सचिव ने जिले के दूरस्थ पहाड़ी क्षेत्रों, वनांचलों में स्वास्थ्य सुविधाओं के विस्तार एवं सेवाओं को बेहतर बनाने हेतु प्रभावी कार्य योजना तैयार कर कार्य करने हेतु निर्देशित किया। जिले के दूरस्थ ग्रामीण क्षेत्रों में कैंप लगाकर एनीमिया एवं कुपोषण की गंभीरता से स्क्रीनिंग कराने के लिए कहा।

उन्होंने कहा कि जिले में स्वास्थ्य सुविधाओं का लाभ अंतिम व्यक्ति तक पहुंचना चाहिए। इस हेतु जनजागरूकता अभियान चलाकर ग्रामीणों को जागरूक किया जाए। उन्होंने जिले के दूरस्थ क्षेत्र गढ़-उपरोड़ा के हेल्थ एण्ड वेलनेस सेंटर का उन्नयन कार्य की प्रशंसा की। श्री कुमार ने नेशनल फैमिली हेल्थ सर्वे के डाटा के आधार पर राज्य एवं अन्य अग्रणी जिलों की तुलना करते हुए जिले की रिपोर्ट तैयार करने की बात कही। उन्होंने योजनाओं की नया बेसलाइन डाटा तैयार करने के लिए दूसरे जिले व राज्य के डाटा का भी विश्लेषण कर रिपोर्ट बनायें ताकि आगे और भी बेहतर ढंग से कार्य किया जा सके। महिला एवं बाल विकास विभाग की समीक्षा के दौरान उन्होंने जिले में एनीमिया मुक्ति, कुपोषण स्तर में कमी लाने हेतु किए जा रहे कार्याे की जानकारी लेते हुए एनिमिक महिलाओं, कुपोषित बच्चों को गंभीरता से गर्म भोजन एवं पोषण आहार प्रदान करने के लिए कहा। साथ ही आंगनबाड़ी केन्द्रों में पोषणाहार कार्यक्रम के तहत् ज्यादा से ज्यादा जन सहभागिता बढाने की बात कही। उन्होंने महिला एवं बाल विकास अधिकारियों को सुपोषण के लिए प्रभावी कार्य करने के निर्देश दिए।

शिक्षा विभाग की समीक्षा करते हुए सभी स्कूलों में बिजली एवं पेयजल की व्यवस्था होना जरूरी है, इस संबंध में उन्होंने जानकारी ली गई। सभी स्कूलों में शिक्षक रहे, कोई भी शाला एकल शिक्षक न हो यह सुनिश्चित करना होगा। समीक्षा के दौरान जिले में पेयजल व्यवस्था, पालतू पशुओं का टीकाकरण, सभी गांवों मजरो, टोलों में बिजली, प्रधानमंत्री ग्रामीण सड़कें, कौशल विकास, कृषि उत्पादकता बढ़ाने, सिंचाई रकबा बढ़ाने और ग्राम पंचायतों में इन्टरनेट नेटवर्क कनेक्टिविटी के संबंध में विस्तृत चर्चा हुई। उन्होंने जिले में जल शक्ति अभियान के कार्यों की समीक्षा करते हुए जल संचय एवं संरक्षण के लिए किए जा रहे कार्यों की जानकारी ली तथा आवश्यक निर्देश दिए।

इस अवसर पर वनमण्डलाधिकारी कोरबा अरविंद पीएम, वनमण्डलाधिकारी कटघोरा श्रीमती प्रेमलता यादव, स्वास्थ्य विभाग, महिला एवं बाल विकास विभाग, कृषि, शिक्षा, विद्युत, लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी, सूचना प्रोद्योगिकी, कौशल विकास, प्रधानमंत्री आवास, प्रधानमंत्री ग्रामीण सड़क सहित अन्य विभागीय योजनाओं में जिले में किए गए कार्यों की प्रगति की समीक्षा की गई।

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