रांची (आदिनिवासी)। 03 अगस्त 2023 को अरगड्डा कार्यालय में सोहराय मांझी की अध्यक्षता मैं बैठक संपन्न हुई। बैठक की कार्यवाही का संचालन लालचंद बेदिया एवं महादेव मांझी ने किया। बैठक में देवकीनंदन बेदिया ने बताया कि आज देश में केन्द्रीय भाजपा सरकार की ओर से भारत के मूल आदिवासियों को संरक्षण एवं विकास करने के बजाय उनकी सारी धरोहर को नष्ट करने के लिए आदिवासियों के ऊपर विभिन्न तरह के आदिवासी विरोधी कानून लाकर उन पर हमला तेज कर दिया है।
पहले तो छत्तीसगढ़ में नक्सलाईट उन्मूलन के नाम पर ग्रीन हंट आपरेशन चला कर आदिवासियों का दमन किया। वन अधिकार कानून को खत्म कर आदिवासियों को वनों से खदेड़ने का काम करने लगे। भूमि अधिग्रहण कानून बनाकर उनकी जमीन छीनने लगे। झारखंड में सीएनटी/एसपीटी एक्ट खत्म करने का प्रयास किया गया। समान नागरिक संहिता के तहत आदिवासियों की संस्कृति एवं परंपराओं को खत्म करने में लगी हुई है।
वन संरक्षण संशोधन विधेयक 2023 बिल लाकर आदिवासियों की जल-जंगल-जमीन- खनिजों को लूटने के लिए कानून बना कर कारपोरेट घरानों को देना चाहती है। गैर-आदिवासियों को आदिवासी बनाकर आदिवासियों के साथ गृहयुद्ध में बदल तहस-नहस कर देना चाहती है। जिसकी शुरुआत मणिपुर में तीन महीनों से कर रही है।
बैठक में विचार विमर्श के उपरान्त निम्नांकित निर्णय लिए गए। अरगड्डा चौक में आदिवासी संघर्ष मोर्चा के बैनर तले विश्व आदिवासी दिवस मनाया जाएगा। जिसमें किसान मजदूर एकता भी साथ देगी और आरा में आदिवासी संघर्ष मोर्चा एवं सरना समिति के बैनर तले भव्य तरीके से एक रैली निकाली जाएगी और सभा करने का प्रोग्राम लिया गया है। इसके अलावा दुलमी, गोला, भुरकुंडा, बरकाकाना सहित अन्य गांवों में भी विश्व आदिवासी दिवस मनाने का निर्णय लिया गया है।
कार्यक्रम में हमारी प्रमुख मांगे होंगी:
🔺सुभाष मुंडा के हत्यारे को अविलंब गिरफ्तार करो!
🔺 मणिपुर के मुख्यमंत्री एन बीरेन सिंह इस्तीफा दो!
🔺 वन संरक्षण संशोधन विधेयक 2023 को रद्द करो!
🔺 समान नागरिक संहिता (UCC) वापस लो!
🔺आदिवासियों के जल-जंगल-जमीन व जीवन पर हमला करना बंद करो!
बैठक में आदिवासी संघर्ष मोर्चा के राष्ट्रीय अध्यक्ष देवकीनंदन बेदिया सहित आदिवासी संघर्ष मोर्चा के नरेश बडाईक, मनाराम मांझी, सरयू बेदिया, भुनेश्वर बेदिया, मदन राम, लालकुमार बेदिया, कुलदीप बेदिया, संजय मांझी, संझूल मांझी, रामबृक्ष बेदिया, सुभाष बेदिया, चंद्रिका राम, जयनंदन गोप, रुपन गोप, छोटेलाल करमाली, प्रयाग बेदिया, शैलेन्द्र बेदिया, अजित बेदिया, लालदेव करमाली, कजरु करमाली तथा अन्य लोग शामिल थे।